तत्कार (पैरों का काम) - तीनताल - एगुन का व्याख्यान और उसका प्रदर्शन
गुरु पाली चन्द्रा अपने शिष्यों को बराबर या एगुन स्वरूप को समझाते हुए उसका प्रदर्शन भी करती है । ताल के आकार के ऊपर किस प्रकार लहरे को साथ लेकर संम पर किस तरह खूबसूरती से आया जाता है इसके बारे में आईए सीखिए इस पाठ में । लहरें के स्वरों का और ताल के बोलों का किस प्रकार साथ में शुरू होकर साथ में ही ख़तम होना संम पर किस तरा करते है इसका आनन्द उठाये इस पाठ में ।
गुरु वंदना व्याख्यान क्रम से (पाठ २) | कथक में गुरु वंदना श्लोक का विस्तृत विवरण |
कथक नमस्कार से शुरुवात का सही ढंग के बारे में गुरु पाली चन्द्रा
ॐकारं बिंदुसंयुक्तं - शोलक और उसके मायने | Omkaram Bindu Samyuktam Sloka Meaning
ॐकारं बिंदुसंयुक्तं - व्याख्यान प्रदर्शन सहित | Lecture Demonstration of Omkaram Bindu Samyuktam…
पड़हन्त का व्याख्यान और प्रदर्शन, संगीत के साथ, कथक के प्रारंभिक स्तर के लिए