पड़हन्त पैरों का संचालन, कथक प्रारंभिक स्तर के लिए
गुरु पाली चन्द्रा निराला अंदाज़ में कथक में पैरों का काम पडहन्त के साथ किस प्रकार किया जाता है इसका प्रदर्शन इस पाठ में कर रही है । पैरों का संचालन हमारी कथक की नींव है । उसे मज़बूती से समझ कर करने से हमारी कथक की यात्रा और आनन्दमय हो सकती है ।
ॐकारं बिंदुसंयुक्तं - शोलक और उसके मायने | Omkaram Bindu Samyuktam Sloka Meaning
गुरु वंदना शोलक और उसके मायने
कथक की शुरुवात शरीर के व्यायाम से करना आवश्यक है । वार्म अप और कूल डाउन के महत्व को समझना अनिवार्य है ।
परिभाषा और लिखने का अन्दाज़ - तत्कार (पैरों का काम) - तीनताल
आमद प्रदर्शन शिष्यों के साथ | Amad Demonstration with the Students